गुरुवार, 20 फ़रवरी 2020

बच्छ बारस ( राजस्थान)



बछ बारस।
इसे वत्स द्वादशी भी कहा जाता है।यह पूजन अपने बेटे की लंबी आयु और उसके उज्जवल भविष्य के लिए कि या जाता है। हर वर्ष भाद्रपद में कृष्ण पक्ष की द्वादशी  को  मनाया जाता है।
इस पूजन में जिस गाय के बछड़ा हुआ हो उसी गाय और बछड़े की पूजा की जाती ह।पूजा में गौ और बछड़े दोनों के तिलक निकाल कर दोनों को अंकुरित मूंग, मोठ और बाजरी के आटे की बनी लोई खिलाई जाती ह और मौली,जल भी चढ़ाते ह और मंगल कामना की जाती ह फिर कहानी सुनते ह ।
इस व्रत में भैंस के दूध की ही चाय और दही खाया जाए जाता ह और मूंग मोठ की सब्जी खाई जाती ह और बाजरी की रोटी ही खाते ह। गाय के दूध से बनी कोई भी खाने की चीज,चाकू से कटी कोई भी सब्जी ,गेहू के आटे की रोटी और लाल मिर्ची नही खाई जाती है।

लेखिका- संगीता व्यास

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